छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की घोषणा के बाद तत्काल अमल करते हुवे नगरी प्रशासन एवं विकास विभाग ने 170 नगरी निकायों के विभिन्न विकास कार्यों के लिए 1000 करोड़ रुपए की राशि जारी कर दिया है इसके तहत छत्तीसगढ़ के सभी नगरीय निकायों में तेजी से विकास कार्य किए जाएंगे.
चुनाव से पहले करोड़ों के विकास कार्यों की लगाई झड़ी
इस साल छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. ऐसे में सीएम बघेल ने छत्तीसगढ़ में विकास कार्य की झड़ी लगा दी है. सीएम बघेल की घोषणा के बाद नगरीय प्रशासन विकास विभाग ने 1000 करोड़ की राशि जारी कर दिया है. जिसके तहत अब 170 नगरीय निकायों में विकास कार्य किए जाएंगे. सीएम की घोषणा के बाद नगर निगम रायपुर के लिए 100 करोड़, नगर निगम भिलाई के लिए 60 करोड़ रुपए की स्वीकृति मिली है. भिलाई के अलावा दुर्ग नगर निगम को 25 करोड़ रुपए, भिलाई चरोदा को 20 और रिसाली को 15 करोड़ की स्वीकृति मिली है.
170 नगरी निकायों के विकास कार्यों के लिए 1000 करोड़ की स्वीकृति
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राजधानी रायपुर में 15 फरवरी को नगरीय प्रशासन विभाग द्वारा आयोजित नगरीय गौरव समागम कार्यक्रम में सभी नगरीय निकायों को विभिन्न विकास कार्यों के लिए लगभग 1 हजार करोड़ रुपए की राशि देने की घोषणा की थी. जिसके तहत में नगरीय प्रशासन विभाग ने स्वीकृति का आदेश जारी किया है. मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद सबसे ज्यादा 100 करोड़ रुपए नगर निगम रायपुर को मिला. इसके अलावा बिलासपुर नगर निगम को 50 करोड़ रुपए, अम्बिकापुर, जगदलपुर नगर निगमों को 20-20 करोड़ रुपए, राजनांदगांव रायगढ़ एवं कोरबा को 15-15 करोड़ रुपए, बीरगांव, धमतरी एवं चिरमिरी नगर निगम को 10-10 करोड़ रुपए की राशि विभिन्न विकास कार्यों के लिए स्वीकृत की गई है. इसी प्रकार सभी 44 नगर पालिकाओं को विकास कार्यों के लिए 5-5 करोड़ रुपए और सभी 112 नगर पंचायतों को 3-3 करोड़ रुपए की स्वीकृति जारी की गई है.
नगर निगमों और नगर पालिकाओं में बनेंगे ‘अर्बन कॉटेज एंड सर्विस इंडस्ट्रीज पार्क
मुख्यमंत्री की घोषणा के अनुरूप रुरल इंडस्ट्रियल पार्क की तर्ज पर सभी नगर निगमों और नगर पालिकाओं में ‘अर्बन कॉटेज एण्ड सर्विस इंडस्ट्रीज पार्क विकसित करने के लिए 2-2 करोड़ रुपए की स्वीकृति जारी की गई है.
स्वीकृत राशि से सभी नगर निगमों और नगर पालिकाओं में शहरों के मार्केट एरिया में सीसीटीवी लगाने, आधुनिक शौचालयों का निर्माण और प्रकाश व्यवस्था की जाएगी. इसी तरह सभी नगर निगमों, नगर पालिकाओं और नगर पंचायतों में कचरा एकत्रीकरण की व्यवस्था को सुदृढ़ करने तथा पर्यावरण संरक्षण के उद्देश्य से आबादी के अनुपात में ई-रिक्शा / ई- कार्ट की व्यवस्था की जाएगी.