गुरुग्राम। कॉलेजों में दाखिले लेकर किन्ही कारणों से दाखिला रद्द कराने वाले विद्यार्थियों की फीस से 1000 रुपये जुर्माना काटकर फीस वापस की जा रही है। इसके साथ ही जिन विद्यार्थियों ने विलंब शुल्क के साथ दाखिला लिया था, उनको विलंब शुल्क वापस नहीं मिलेगा। उच्चतर शिक्षा विभाग की ओर से इस संदर्भ में कॉलेजों को निर्देश जारी किए हैं। कॉलेज दाखिला लेने के एक सप्ताह में कोई विद्यार्थी अपना दाखिला रद्द कराता है तो उसको पूरी फीस वापस मिलेगी, लेकिन विलंब शुल्क की राशि नहीं मिल सकेगी।
बता दें कि उच्चतर शिक्षा विभाग द्वारा स्नातक के प्रथम वर्ष में खाली सीटों पर ओपन काउंसलिंग के तहत दाखिला प्रक्रिया चल रही है। दिल्ली विश्वविद्यालय की मेरिट सूची में नाम आने या फिर किसी अन्य कोर्स में दाखिले के लिए विद्यार्थी जिले के सरकारी कॉलेजों से दाखिले रद्द करा रहे हैं। ऐसे में लगातार कॉलेजों में सीटें खाली हो रही हैं। शहरी क्षेत्र के कॉलेजों में दाखिले रद्द कराने से खाली हो रहीं सीटों पर अन्य विद्यार्थियों को दाखिले लेने का मौका मिल रहा है।
राजकीय कॉलेज सेक्टर-9 के दाखिला नोडल अधिकारी संजय कत्याल ने बताया कि उच्चतर शिक्षा विभाग के नियमों के अनुसार दाखिले रद्द कराने वाले विद्यार्थियों को 1000 रुपये काटकर फीस वापस की जा रही है। विलंब शुल्क विद्यार्थियों को वापस नहीं होगा। इसके बारे में दाखिला रद्द कराने वाले विद्यार्थियों को जानकारी दी जाती है।