Home छत्तीसगढ़ मालवा-निमाड़ में बिजली वितरण के लिए नए 48 सब स्टेशन

मालवा-निमाड़ में बिजली वितरण के लिए नए 48 सब स्टेशन

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भोपाल : मध्यप्रदेश पश्चिम क्षेत्र वितरण कंपनी ने वर्ष 2023 एवं 24 के दौरान मालवा और निमाड़ क्षेत्र में 48 नए ग्रिड तैयार किए हैं। ग्रामीण क्षेत्रों के नए ग्रिडों से रबी सीजन में किसानों को मदद मिलेगी। ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर के निर्देशानुसार बने इन ग्रिडों से शहर एवं ग्रामीण क्षेत्र के घरेलू बिजली उपभोक्ताओं को भी फायदा पहुंचेगा।

मध्यप्रदेश पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी इंदौर की प्रबंध निदेशक सुरजनी सिंह ने बताया कि गुणवत्तापूर्ण विद्युत आपूर्ति के सघनतम प्रयास किए जा रहे हैं। कृषि क्षेत्र के उपभोक्ताओं को दस घंटे एवं अन्य सभी श्रेणी के उपभोक्ताओं को चौबीस घंटे विद्युत आपूर्ति व्यवस्था है। सुचारू विद्युत आपूर्ति के लिए लाइन एवं ग्रिडों के क्षमता बढ़ाने एवं नए 33/11 केवी ग्रिडों को समय़ पर तैयार किया जा रहा है। आरडीएसएस के तहत अब तक 43 ग्रिड तैयार हुए है। इनमें इन्दौर शहर के बिलावली, सुपर स्पेशलिटी हास्पिटल, इंदौर ग्रामीण वृत्त का ईमलीखेड़ा, महेश्वर रोड, गुलझेरा, बड़ियाकीमा बिचौली, राजोदा, खरगोन का आम्बा, कामोदवाड़ा, गेरूबेड़ी, शिवना, धार का जोलाना, बड़वानी का कालापाट, खंडवा का अमलानी, बड़ौदा अहीर, मालगांव, कुम्हारखेड़ा, सेगवाल, , बुरहानपुर का सिवल, झाबुआ का सेमलिया ग्रिड शामिल है।

इसी तरह उज्जैन रीजन के नए 33/11 केवी के ग्रिडों में देवास का राबड़िया, खूटखेड़ा, तिवड़िया खातेगांव, गोदना, आगर का नई पुलिस लाइन मालीखेड़ी, उज्जैन का करोदिया, बहलोला, परसोली, रजला, निंबोडिया खुर्द, जीवनखेड़ी, गेलाखेड़ी, मंदसौर का अभिनंदन नगर, शाजापुर का खेड़ापहाड, भैंसायगढ़ा, मोहम्मदखेड़ा, कमलिया, कनाडिया, रतलाम का बरखेड़ी, नायन, राजाखेड़ी का ग्रिड़ शामिल हैं। इंदौर शहर के रसोमा विजय नगर के पास ग्रिड का 98 फीसदी कार्य पूर्ण हो चुका हैं। जल्दी ही यहां से बिजली वितरण प्रारंभ हो जाएगा। आरडीएसएस के साथ ही एसएसटीडी योजना के तहत इंदौर के राऊ-केट रोड तिराहे के पास 33/11 केवी का ग्रिड व धार का गवली पडियाल, खंडवा का गुलाई, खरगोन का मोहनपुरा, रतलाम का अमलेठा, आगर के गुड़ीकला, खंडवा के दूधतलाई में नए ग्रिडों से बिजली वितरण हो रहा है। प्रत्येक ग्रिडों से हजारों बिजली उपभोक्ताओं को पहले की तुलना में ज्यादा गुणवत्ता के साथ बिजली प्रदाय की जा रही है। पहले से स्थापित करीब 140 ग्रिडों की क्षमता का भी विस्तार किया गया है।