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छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की किलाबंदी:43 विधायकों को सेक्टर प्रभारी बनाकर भानुप्रतापपुर में रहने के निर्देश, एक MLA को 2 से 8 बूथ का जिम्मा

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भानुप्रतापपुर में हो रहे उपचुनाव में अपनी सीट को बचाये रखने के लिए कांग्रेस ने पूरी किलेबंदी तैयार की है। अभी तक पूरे विधानसभा क्षेत्र को जोन-सेक्टर और बूथ में बांटकर स्थानीय नेताओं को जिम्मा दिया गया था। अब सेक्टर प्रबंधन के लिए पार्टी के 43 विधायकों को प्रभारी बनाकर चुनाव मैदान में उतारा जा रहा है। सेक्टर सिस्टम में एक प्रभारी के जिम्मेदारी में दाे से आठ बूथ आने हैं।

भानुप्रतापपुर विधानसभा में कांकेर जिले के तीन ब्लॉक के इलाके आ रहे हैं। इसमें भानुप्रतापपुर में सबसे अधिक 100 बूथ हैं। यहां पर 20 सेक्टर बनाये गये हैं। इसके राजनीतिक रूप से सबसे महत्वपूर्ण कोरर जोन के कोरर सेक्टर की जिम्मेदारी सबसे वरिष्ठ विधायक सत्यनारायण शर्मा को दी गई है।

सत्यानारायण शर्मा के साथ विधायक कुंवर सिंह निषाद को भी लगाया गया है। वहीं सेलेगांव में धनेंद्र साहू पार्टी प्रचार की कमान संभालने के लिए भेजे गए हैं। उसी जोन के बैजपुरी में विधायक अंबिका सिंहदेव को सेक्टर प्रभारी की जिम्मेदारी मिली है।

संसदीय सचिव विकास उपाध्याय और बेमेतरा से कांग्रेस नेता आशीष छाबड़ा को भानुप्रतापपुर सेक्टर की जिम्मेदारी दी गई है। आज से नेता भानुप्रतापपुर में डेरा डालेंगे। क्षेत्र में चुनाव-प्रचार प्रसार कर कांग्रेस प्रत्याशी के लिए वोट मांगेंगे।

चुनाव क्षेत्र के दूसरे ब्लॉक चारामा में 103 बूथ और 18 सेक्टर हैं। यहां पर एक-एक सेक्टर में दो विधायकों को लगाया गया है। उपचुनाव में भाजपा के उम्मीदवार ब्रह्मानंद नेताम का गांव इसी ब्लॉक में आता है। इसलिए यह राजनीतिक रूप से भी महत्वपूर्ण है।

घेराबंदी में अधिकतर आदिवासी और ओबीसी विधायकाें को लगाया गया है। उनके साथ बस्तर के स्थानीय नेताओं को भी रखा गया है। तीसरे ब्लॉक दुर्गकोंदल में 61 बूथ हैं। वहां पर 12 सेक्टर बनाये गये हैं। चंदन कश्यप, इंद्रशाह मंडावी, के.के. ध्रुव, मोहित केरकेट्‌टा जैसे विधायकों को दुर्गकोंदल का गढ़ बचाने का जिम्मा सौंपा गया है।

आज से संभाल लेना है मोर्चा

प्रदेश कांग्रेस के प्रभारी महामंत्री (संगठन) अमरजीत चावला ने सभी सेक्टर प्रभारियों की नियुक्ति आदेश जारी किया है। इसके मुताबिक सभी को शनिवार को अपने क्षेत्र में दी गई जिम्मेदारी संभालने को कहा गया है। बताया जा रहा है कि कुछ विधायक नामांकन के दिन से ही भानुप्रतापपुर में डेरा डाल चुके हैं।

गुरुवार को हुआ था कांग्रेस-भाजपा प्रत्याशियों का नामांकन

कांग्रेस ने यहां से सीटिंग विधायक मनोज मंडावी की पत्नी सावित्री मंडावी को अपना उम्मीदवार बनाया है। उन्होंने गुरुवार को शक्ति प्रदर्शन के साथ नामांकन दाखिल किया। वहीं भाजपा ने 2008 में वहीं से विधायक रहे ब्रह्मानंद नेताम को फिर से मैदान में उतारा है। नेताम ने भी गुरुवार को ही नामांकन दाखिल किया। इस चुनाव के लिए 39 लोगों ने नामांकन किया था। चुनाव आयोग ने स्क्रूटनी के बाद 21 व्यक्तियों का नामांकन वैध पाया है।

केवल पांच राजनीतिक दल मैदान में

भानुप्रतापपुर उपचुनाव से कांग्रेस-भाजपा के अलावा तीन और राजनीतिक दल मैदान में हैं। शेष सभी राजनीतिक दलों ने चुनाव से किनारा कर लिया है। स्क्रूटनी के बाद कांग्रेस की सावित्री मंडावी, भारतीय जनता पार्टी के ब्रह्मानंद नेताम, गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के घनश्याम जुर्री, राष्ट्रीय जनसभा पार्टी के डायमंड नेताम एवं आंबेडकराईट पार्टी ऑफ इंडिया के शिवलाल पुड़ो का नामांकन को वैध पाया गया है। वहीं अकबर कोर्राम, अर्जुन सिंह, आयनुराम ध्रुव, गौतम कुंजाम, जीवन राम ठाकुर, दिनेश कुमार कल्लो, दुर्योधन दर्रो, देवप्रसाद जुर्री, नागेश कुमार माहला, प्रमेश कुमार टेकाम, बलराम तेता, महत्तम कुमार दुग्गा, रेवतीरमन गोटा, रोहित कुमार नेताम, लक्ष्मीकांत गावड़े और सेवालाल चिराम ने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर नामांकन दाखिल किया है।